गुरुवार, 1 मई 2008

भोपाल के कोलार में स्टापडेम बनाने में समस्याएं ही समस्याएं

भोपाल, नभासं. इस साल सूरज के तेवर काफी तीख्ो हैं, इसके विकराल रुप से जल संकट लगातार गहराता जा रहा है, लोगों में पानी की आपूर्ति को लेकर हाहाकार मची है. गर्मी के आते ही कोलार क्षेत्र में जल स्तर तेजी से गिरने लगा है, यहाँ कई हैंडप6प व बोर सूख गए हैं और कई सूखने की कगार पर है, लोग यहाँ घंटों पानी के लिए लाईनों में खड़े रहते हैं, तब भी उन्हें अपनी दिन भर की जरुरत से कम पानी मिलता है.
पानी के गिरते जल स्तर से निपटने के लिए बरसात के बहते पानी को जगह-जगह स्टाप डेम के माध्यम से रोक कर इकट्ठा किया जाता है. ताकि पानी वहीं सूखे और वाटर लेबल बड़े, लेकिन कोलार में नपा अधिकारी चाह कर भी स्टाप डेम बनाने की योजना लागू नहीं कर पा रहे हैं, जिसके कारण आने वाले समय में यहाँ जल संकट और ज्यादा हो जाएगा.
कोलार में ऐसे कई नाले है, जहाँ बरसात का पानी रोका जा सकता हैं लेकिन इनमें कालोनी वालों ने सीवेज का पानी छोड़ रखा है जिसकी वजह से इनमें स्टाप डेम बनाने में समस्या आ रही है. कुछ नालों में जहाँ सीवेज का पानी नहीं बहता उन पर भूमाफियाओं ने क4जा कर रखा है. जिसके कारण इस कार्य को करने में समस्या आ रही है.कोलार में बहने वाली नपा अधिकारियों का कहना है कि कलियासोत नदी में काफी अच्छा स6प डेम बन सकता है लेकिन यहाँ कई कालोनियों का सीवेज बहकर आता है, जिससे यहाँ का पानी प्रदूषित है. इस कारण ये कार्य यहाँ नहीं कराया जा सकता. किन-किन कालोनियों का आता है सीवेज-कलियासोत नदी में सर्वधर्म ए-सेंटर, सर्वधर्म बी-सेंटर, सर्वधर्म सी-सेंटर, शालीमार गार्डन, शालीमार पार्क साक्षी रिसोर्ट और कई कालोनियों का सीवेज इसमें छोड़ा गया है.
कहाँ-कहाँ हुआ अतिक्रमण-राजहर्ष, अम्बेडकर नगर, मंदाकिनी, अकबरपुर, प्रियंका नगर, दामखेड़ा आदि कई स्थानों पर छोटे-छोटे नाले बहा करते थे. जिन पर लोगों ने अतिक्रमण कर लिया है.
क्या कहते हैं- अधिकारी-यहाँ स्टाप डेम बनाने की कोई उचित जगह नहीं हैं. अगर हम ऐसी जगह स्टाप डेम बना देते हैं, जहाँ सीवेज का पानी आता है, तो यहाँ का पानी प्रदूषित होगा साथ ही आसपास बीमारी फैलाने की संभावना बढ़ जाएगी.
साभार-नवभारत भोपाल

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